मध्य प्रदेश ने प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना के तहत स्ट्रीट वेंडर्स को ऋण वितरण में उल्लेखनीय प्रगति हासिल की है। इस योजना के तहत राज्य में 11 लाख 95 हजार से अधिक स्ट्रीट वेंडर्स को ऋण वितरित कर देशभर में प्रथम स्थान प्राप्त किया है। इनमें से 8 लाख 38 हजार स्ट्रीट वेंडर डिजिटली लेन-देन कर रहे हैं। इन स्ट्रीट वेंडरों को करीब 21 करोड़ रुपये की नकद राशि बैंक से ऋण के रूप में प्राप्त हुई है।
Table of Contents
Toggleविभिन्न वर्षों में वितरित ऋण
- वर्ष 2021: एक लाख 99 हजार ऋण प्रकरणों में राशि वितरित की गई।
- वर्ष 2022: एक लाख 70 हजार लोगों को ऋण दिया गया।
- वर्ष 2023: एक लाख 84 हजार ऋण प्रकरण स्वीकृत किए गए।
इस प्रकार, राज्य ने लगातार तीन वर्षों में बड़ी संख्या में स्ट्रीट वेंडर्स को आर्थिक सहायता प्रदान की है।
स्पार्क अवार्ड से सम्मानित
मध्य प्रदेश की इस उपलब्धि को ध्यान में रखते हुए, केंद्रीय आवासन और शहरी कार्य मंत्री मनोहर लाल खट्टर और राज्यमंत्री तोखन साहू ने आज 18 जुलाई को नई दिल्ली में प्रमुख सचिव नीरज मंडलोई को सिस्टमेटिक प्रोग्रेसिव एनालिटिकल रियल टाइम रैंकिंग (स्पार्क) अवार्ड प्रदान किया। यह अवार्ड समारोह इंडिया हैबिटेट सेंटर, नई दिल्ली में आयोजित किया गया।
योजना का उद्देश्य
प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना का मुख्य उद्देश्य पथ विक्रेताओं के आर्थिक सशक्तिकरण के लिए उन्हें आसान ऋण प्रदान करना है। यह महत्वाकांक्षी योजना जुलाई 2020 से संचालित हो रही है। इसके तहत 10, 20 और 50 हजार रुपये के ऋण चरणवार पथ विक्रेताओं को स्वीकृत किए जाते हैं। इस योजना के माध्यम से पथ विक्रेताओं को स्वरोजगार की दिशा में बढ़ावा मिलता है और वे अपने व्यापार को और अधिक सुचारू रूप से चला पाते हैं।
स्टेट मिशन डायरेक्टर का बयान
स्टेट मिशन डायरेक्टर पीएम स्वनिधि तथा एनयूएलएम कैलाश वानखेड़े ने बताया कि इस वर्ष मध्य प्रदेश में सर्वाधिक प्रकरणों की स्वीकृति कर राशि का वितरण किया गया है। उनके अनुसार, इस योजना के तहत राज्य में पथ विक्रेताओं को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं।
पुरस्कार समारोह में सम्मानित
पुरस्कार समारोह में नगरीय निकाय उज्जैन, खरगोन और सारणी को पीएम स्वनिधि योजना में उनके उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए पुरस्कृत किया गया। इसके साथ ही नगरीय निकाय जबलपुर, सीधी, मंदसौर और इटारसी को डे-एनयूएलएम योजना के तहत पुरस्कृत किया गया। इस अवसर पर पीएम स्वनिधि योजना से लाभान्वित दो शहरी पथ विक्रेताओं और दो स्वसहायता समूहों को भी सम्मानित किया गया।
डिजिटली लेन-देन में बढ़ोतरी
मध्य प्रदेश में 8 लाख 38 हजार स्ट्रीट वेंडर डिजिटली लेन-देन कर रहे हैं। यह डिजिटलीकरण पथ विक्रेताओं को आधुनिक तकनीकों से जोड़ने और उनकी कार्यशैली में सुधार लाने में सहायक सिद्ध हुआ है। इसके माध्यम से वे अपने वित्तीय लेन-देन को अधिक पारदर्शी और सुरक्षित बना सकते हैं।
भविष्य की दिशा
प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना के माध्यम से पथ विक्रेताओं को आत्मनिर्भर बनाने और उनके आर्थिक सशक्तिकरण की दिशा में सरकार के प्रयास सराहनीय हैं। मध्य प्रदेश की इस उपलब्धि से यह स्पष्ट होता है कि यदि सही दिशा में प्रयास किए जाएं तो पथ विक्रेताओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाया जा सकता है। राज्य सरकार की योजना है कि इस प्रकार की योजनाओं को और अधिक प्रभावी बनाया जाए और अधिक से अधिक पथ विक्रेताओं को इसका लाभ पहुंचाया जाए।
मध्य प्रदेश ने प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना के तहत स्ट्रीट वेंडर्स को ऋण वितरण में अद्वितीय सफलता प्राप्त की है। राज्य ने न केवल देशभर में प्रथम स्थान हासिल किया है, बल्कि पथ विक्रेताओं को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम भी उठाए हैं। इस योजना के तहत राज्य में 11 लाख 95 हजार से अधिक स्ट्रीट वेंडर्स को ऋण वितरित किए गए हैं, जिनमें से 8 लाख 38 हजार डिजिटली लेन-देन कर रहे हैं। यह सफलता राज्य सरकार के प्रयासों और पथ विक्रेताओं के सहयोग का परिणाम है। स्पार्क अवार्ड से सम्मानित होने के बाद, राज्य सरकार और भी अधिक उत्साह के साथ इस दिशा में कार्य करेगी और पथ विक्रेताओं को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में और अधिक प्रयास करेगी।