रायपुर। राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान (एनआईटी) के तृतीय वर्ष के छात्र कोंडरी आयुष की स्वीमिंग पूल में डूबने से मृत्यु हो गई। घटना 11 जुलाई की शाम करीब चार बजे की है। सरस्वती नगर थाना पुलिस ने मर्ग कायम कर मामले की जांच शुरू कर दी है।
घटना का विवरण:
कोंडरी आयुष, जो कि एनआईटी का तृतीय वर्ष का छात्र था, सेकेंड शिफ्ट में स्वीमिंग सीखने के लिए आया था। स्वीमिंग पूल में एम्स अस्पताल के एक डॉक्टर भी उसी समय तैराकी का अभ्यास कर रहे थे। आयुष तैरते हुए काफी दूर निकल गया था और वापस लौटने के दौरान वह डूबने लगा। डॉक्टर ने छात्र को डूबते हुए देखा और तुरंत मौके पर उपस्थित स्वीमिंग पूल में तैनात सुरक्षा कर्मियों को सूचित किया।
पेट से पानी निकालने का प्रयास:
कोंडरी आयुष को स्वीमिंग पूल से बाहर निकालने के बाद डॉक्टर ने तुरंत उसका पेट दबाकर पानी निकालने की कोशिश की। इस प्रयास में आयुष ने उल्टी की, लेकिन उसकी स्थिति गंभीर बनी रही। तत्पश्चात, उसे तत्काल उपचार के लिए एम्स अस्पताल ले जाया गया। पांच घंटे के उपचार के बावजूद कोंडरी आयुष को नहीं बचाया जा सका।
स्वीमिंग पूल संचालक का बयान:
रायपुर अंतरराष्ट्रीय स्वीमिंग पूल के संचालक पुष्पकांत चंद्राकर ने बताया, “आयुष शाम छह बजे की शिफ्ट में आया था और उसे तैरना आता था। अचानक से वह बेहोश हो गया। तत्काल उसे बाहर निकाला गया। इस दौरान एक डॉक्टर भी स्वीमिंग कर रहे थे, जिन्होंने उसके पेट को दबाया। इस प्रयास में उसने उल्टी की। इसके बाद उसे तुरंत अस्पताल भेजा गया, लेकिन पांच घंटे के उपचार के बाद भी उसकी जान नहीं बचाई जा सकी।”
पुलिस की जांच:
सरस्वती नगर थाना पुलिस ने कोंडरी आयुष की मौत की जांच शुरू कर दी है। पुलिस के अनुसार, पोस्टमार्टम के बाद शव स्वजनों को सौंप दिया गया है। प्रारंभिक जांच में छात्र के लंग्स में काफी मात्रा में पानी जमा होने की बात सामने आई है, जो उसकी मौत का कारण बनी। पुलिस सभी संभावित पहलुओं की जांच कर रही है और इस हादसे के पीछे की असली वजह का पता लगाने का प्रयास कर रही है।
चिकित्सा प्रयासों के बावजूद नहीं बची जान:
स्वीमिंग पूल में डूबने के बाद कोंडरी आयुष को बचाने के लिए किए गए चिकित्सा प्रयासों के बावजूद, उसकी जान नहीं बचाई जा सकी। पांच घंटे के लंबे उपचार के बाद भी आयुष की मौत हो गई। डॉक्टरों का कहना है कि छात्र के लंग्स में पानी भरने के कारण उसकी हालत गंभीर हो गई थी, जिससे उसे बचाना मुश्किल हो गया।
परिवार का दुख:
कोंडरी आयुष के निधन से उसका परिवार गहरे शोक में है। परिवारवालों का कहना है कि आयुष एक होनहार छात्र था और उसकी मौत ने सभी को हिला कर रख दिया है। परिवार ने प्रशासन और पुलिस से इस मामले की पूरी जांच करने की अपील की है ताकि इस तरह की घटनाओं से बचा जा सके।
आवश्यक सुरक्षा उपायों की आवश्यकता:
इस घटना ने स्वीमिंग पूल में सुरक्षा उपायों की अनिवार्यता पर भी सवाल खड़े कर दिए हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि स्वीमिंग पूल में पर्याप्त संख्या में प्रशिक्षित लाइफगार्ड्स और आपातकालीन चिकित्सा सुविधाएं होनी चाहिए ताकि किसी भी हादसे की स्थिति में तुरंत कार्रवाई की जा सके।
स्वीमिंग पूल संचालकों को भी अपने कर्मियों को नियमित रूप से प्रशिक्षण देना चाहिए और सुरक्षा मानकों का पालन करना चाहिए। इस प्रकार की घटनाओं से बचने के लिए आवश्यक है कि सभी सुरक्षा उपायों का कड़ाई से पालन किया जाए और किसी भी लापरवाही को गंभीरता से लिया जाए।
समाज की प्रतिक्रिया:
कोंडरी आयुष की मौत ने पूरे एनआईटी और रायपुर के समाज को झकझोर कर रख दिया है। साथी छात्रों और शिक्षकों ने आयुष को एक होनहार और मेहनती छात्र के रूप में याद किया है। उसकी मौत ने सभी को गहरे शोक में डाल दिया है और सुरक्षा के प्रति समाज की जागरूकता बढ़ाने की आवश्यकता को उजागर किया है।
कोंडरी आयुष की असमय मृत्यु ने न केवल उसके परिवार, बल्कि पूरे समाज को एक महत्वपूर्ण संदेश दिया है कि सुरक्षा को हमेशा प्राथमिकता दी जानी चाहिए। इस दुखद घटना से सभी को सबक लेना चाहिए और सुनिश्चित करना चाहिए कि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हो।
कोंडरी आयुष की स्वीमिंग पूल में डूबने से हुई मौत ने सभी को गहरे शोक में डाल दिया है। चिकित्सा प्रयासों के बावजूद उसकी जान नहीं बचाई जा सकी। इस घटना ने सुरक्षा उपायों की अनिवार्यता को भी उजागर किया है। परिवार और समाज की उम्मीद है कि इस मामले की पूरी जांच हो और इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए उचित कदम उठाए जाएं।