Monday, December 23, 2024

कोलकाता रेप-मर्डर केस ममता सरकार पर संकट

- Advertisement -

पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में आरजी कर मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल में एक ट्रेनी महिला डॉक्टर के साथ हुए रेप और मर्डर के मामले ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की सरकार को गंभीर संकट में डाल दिया है। इस घटना ने न केवल राज्य सरकार की कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए हैं, बल्कि मेडिकल कॉलेज और अस्पताल की सुरक्षा व्यवस्था की भी पोल खोल दी है। हाल ही में कलकत्ता हाईकोर्ट ने इस मामले को लेकर राज्य सरकार से कई अहम सवाल किए हैं और केस डायरी भी तलब की है।

कोलकाता रेप-मर्डर केस की पृष्ठभूमि

यह मामला 9 अगस्त को सामने आया जब आरजी कर मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल में एक महिला ट्रेनी डॉक्टर की लाश मिली। जांच में पता चला कि महिला डॉक्टर के साथ बलात्कार किया गया था और फिर उसकी निर्मम हत्या कर दी गई थी। घटना के बाद सामने आया कि इस घातक अपराध को अंजाम देने वाला व्यक्ति कोलकाता पुलिस का एक वॉलंटियर था, जो अस्पताल में तैनात था। इस घटना ने न केवल अस्पताल में सुरक्षा की कमी को उजागर किया बल्कि पूरे राज्य में आक्रोश का माहौल बना दिया।

कलकत्ता हाईकोर्ट की सुनवाई और राज्य सरकार की जिम्मेदारी

कोलकाता रेप-मर्डर केस की गंभीरता को देखते हुए कलकत्ता हाईकोर्ट में कई जनहित याचिकाएं दायर की गईं। हाईकोर्ट की मुख्य न्यायाधीश की खंडपीठ ने मामले की सुनवाई के दौरान मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की सरकार से कई महत्वपूर्ण सवाल पूछे। मुख्य न्यायाधीश टीएस शिवगणनम ने सवाल किया कि वह प्रिंसिपल, डॉ. संदीप घोष, जिसे नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए इस्तीफा देना पड़ा, को किसी अन्य मेडिकल कॉलेज का प्रिंसिपल कैसे नियुक्त किया जा सकता है। अदालत ने कहा कि उन्हें इस्तीफा देने के बाद भी पद पर बने रहना उचित नहीं है और इस संबंध में दायर केस डायरी भी अदालत के समक्ष पेश की जानी चाहिए।

प्रिंसिपल की नई नियुक्ति और हाईकोर्ट की प्रतिक्रिया

आरजी कर मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल रहे डॉ. संदीप घोष को हाल ही में ‘कलकत्ता नेशनल मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल’ (CNMCH) का प्रिंसिपल नियुक्त किया गया है, जबकि उन्होंने आरजी कर मेडिकल कॉलेज में रेप-मर्डर की घटना के बाद नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए इस्तीफा दे दिया था। इस नियुक्ति पर हाईकोर्ट ने सवाल उठाए और कहा कि इसे उचित ठहराना मुश्किल है। अदालत ने डॉ. घोष से आज दोपहर 3 बजे तक छुट्टी का आवेदन जमा करने का आदेश दिया है, अन्यथा अदालत उन्हें पद छोड़ने का आदेश पारित करेगी।

मामले की जांच और सीबीआई की मांग

मेडिकल छात्रों और रेजिडेंट डॉक्टर्स ने इस हत्याकांड के बाद व्यापक प्रदर्शन किया और मांग की कि मामले की जांच सीबीआई को सौंप दी जाए। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने यह आश्वासन दिया कि अगर पुलिस रविवार तक केस सुलझा नहीं पाई तो इसे सीबीआई को ट्रांसफर कर दिया जाएगा। हालांकि, इस आश्वासन के बावजूद देशभर में डॉक्टर्स की हड़ताल जारी है, जिससे अस्पतालों में सेवाओं पर असर पड़ा है।

आरजी कर मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल में हुई इस वीभत्स घटना ने पूरे देश को हिला दिया है। मामले के खुलासे ने न केवल मेडिकल कॉलेज की सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल खड़े किए हैं, बल्कि राज्य सरकार की कानून व्यवस्था और प्रशासनिक निर्णयों पर भी चिंता जताई है। कलकत्ता हाईकोर्ट की दिशा-निर्देश और राज्य सरकार के निर्णय इस केस के आगे की जांच और न्याय की दिशा तय करेंगे। इस बीच, मेडिकल छात्रों और डॉक्टर्स की आवाज़ के साथ ही मामले की सही और निष्पक्ष जांच की उम्मीद बनी हुई है।

आपकी राय

How Is My Site?

View Results

Loading ... Loading ...
यह भी पढ़े
Advertisements
राशिफल
अन्य खबरे