Tuesday, December 24, 2024

छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय किसानों के सच्चे हितैषी

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छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय, जो मूलतः एक किसान हैं, ने राज्य के किसानों के हित में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। कृषि विभाग की हालिया समीक्षा में उनके किसान होने की झलक स्पष्ट रूप से देखने को मिली। मुख्यमंत्री की इस पहल ने राज्य के किसानों में एक नई उम्मीद जगा दी है।

कृषि आधारित रोजगार को मिलेगा बढ़ावा

मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने राज्य में कृषि आधारित रोजगार को बढ़ावा देने के अपने संकल्प को दोहराया। उन्होंने कहा कि वे स्वयं एक किसान परिवार से हैं और किसानों की जरूरतों को भली-भांति समझते हैं। इस मौके पर मुख्यमंत्री ने अपने हाथों से बीज छिड़ककर राज्य में कृषि उत्पादकता और रोजगार बढ़ाने पर जोर दिया।

पारंपरिक रीति-रिवाजों का पालन

मुख्यमंत्री ने पारंपरिक रीति-रिवाजों का पालन करते हुए मानसून की शुरुआत के साथ ही अपने पुश्तैनी खेतों में धान की बोनी का शुभारंभ किया। इस दौरान उन्होंने खुद धान की बीज को अपने हाथों से खेतों में बिखेरा, जिससे प्रदेश के किसानों में नया उत्साह जागा है। पारंपरिक वस्त्र और पगड़ी पहने हुए मुख्यमंत्री ने किसानों से संपर्क स्थापित किया और उनकी समस्याओं के प्रति अपनी संवेदनशीलता जाहिर की।

पारंपरिक पूजा-अर्चना

मुख्यमंत्री साय ने बीज छिड़काव से पहले पारंपरिक पूजा-अर्चना भी की, जो जशपुर और सरगुजा अंचल के किसानों की पुरानी परंपरा है। इस परंपरा के अनुसार, परिवार का मुखिया पहले बीज छिड़कता है और उसके बाद परिवार के अन्य सदस्य उसका अनुसरण करते हैं। यह पहल न केवल पारंपरिक कृषि पद्धतियों को पुनर्जीवित करने का प्रयास है, बल्कि इससे यह भी संदेश मिलता है कि मुख्यमंत्री किसानों के साथ खड़े हैं और उनकी समस्याओं को समझते हैं।

खेती-किसानी जीवन का अभिन्न हिस्सा

मुख्यमंत्री साय ने कहा, “खेती-किसानी जीवन का अभिन्न हिस्सा है। मैं भी एक किसान परिवार से हूं और खेती-किसानी की परंपराओं को जीवित रखना चाहता हूं। मैं चाहता हूं कि हमारे किसान आधुनिक तकनीक का उपयोग करते हुए अपनी उपज को बढ़ाएं, लेकिन साथ ही अपनी पारंपरिक विरासत को भी बनाए रखें।”

कृषि विभाग की समीक्षा

हाल ही में, मुख्यमंत्री साय ने कृषि विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक कर राज्य में बेहतर खरीफ फसल के लिए जरूरी तैयारियों की समीक्षा की। उन्होंने अधिकारियों को किसानों के लिए खाद-बीज की पर्याप्त व्यवस्था करने और कृषि में तकनीक के अधिक प्रयोग पर जोर देने का निर्देश दिया। यह कदम न केवल किसानों की उत्पादकता बढ़ाने के लिए महत्वपूर्ण है, बल्कि इससे किसानों को समय पर संसाधन उपलब्ध कराने में भी मदद मिलेगी।

सरकार की प्रतिबद्धता

मुख्यमंत्री साय ने किसानों से अपील की कि वे आधुनिक तकनीक और पारंपरिक ज्ञान का मिश्रण कर अपनी कृषि उत्पादकता को बढ़ाएं। उन्होंने कहा, “हमारी सरकार किसानों की हर संभव मदद करने के लिए प्रतिबद्ध है। हम कृषि क्षेत्र में नवाचार और तकनीकी विकास को बढ़ावा देंगे, ताकि हमारे किसान अधिक उत्पादन कर सकें और अपने जीवन स्तर को सुधार सकें।”

 प्रशिक्षण और सब्सिडी

सरकार किसानों को आधुनिक उपकरण के लिए सब्सिडी और तकनीकी जानकारी उपलब्ध कराने के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम भी चलाएगी। इससे किसानों को नई तकनीकों और उपकरणों का उपयोग करने में सहायता मिलेगी, जिससे उनकी उत्पादकता में सुधार होगा।

किसानों की प्रतिक्रिया

बगिया गांव के किसानों ने मुख्यमंत्री के इस कदम की सराहना की है। उन्होंने कहा, “मुख्यमंत्री का हमारे साथ खेतों में काम करना हमारे लिए गर्व की बात है। इससे हमें प्रेरणा मिलती है और यह दिखाता है कि वे वास्तव में हमारी समस्याओं को समझते हैं और उनका समाधान करना चाहते हैं।”

 नया उदाहरण

मुख्यमंत्री साय ने स्वयं खेती-किसानी कर नया उदाहरण प्रस्तुत किया है कि कैसे एक नेता अपने पारिवारिक और प्रशासनिक दायित्वों का निर्वहन करते हुए जमीनी स्तर पर जनता के साथ जुड़ सकता है। यह पहल न केवल किसानों में आत्मविश्वास बढ़ाने का काम करेगी, बल्कि अन्य नेताओं के लिए भी एक प्रेरणा का स्रोत बनेगी।

छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की यह पहल राज्य के किसानों के लिए एक महत्वपूर्ण और प्रासंगिक कदम है। उनके इस कदम से यह स्पष्ट हो गया है कि वे न केवल एक नेता हैं, बल्कि किसानों के सच्चे हितैषी भी हैं। इस पहल से राज्य के किसानों में नई उम्मीद जगी है और उन्हें अपने भविष्य को लेकर आशा की किरण दिखाई दी है। मुख्यमंत्री की यह पहल निश्चित रूप से छत्तीसगढ़ के कृषि क्षेत्र में सकारात्मक बदलाव लाएगी और किसानों के जीवन में सुधार करेगी।

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